बुध वृषभ में मार्गी (3 जून 2022)
बुध वृषभ में मार्गी (3 जून 2022) का ये लेख हर जातक के लिए बेहद ख़ास रहने वाला है। वैदिक ज्योतिष में बुध उन नौ महत्वपूर्ण ग्रहों में से एक है जिनका हर राशि के जातकों पर गहरा प्रभाव पड़ता है। वैदिक ज्योतिष के अनुसार ये प्रभाव नकारात्मक भी हो सकते हैं और सकारात्मक भी। ऐसे में बुध के प्रभाव और महत्व को दुनिया भर के ज्योतिषियों के लिए नजरअंदाज करना नामुमकिन है।
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कुंडली में बुध का प्रभाव
ज्योतिष विज्ञान में बुध को बुद्धि, वाणी, वाणिज्य, गणित, संचार, व्यापार आदि का कारक ग्रह माना गया है। ऐसे में यदि बुध किसी जातक की कुंडली में मजबूत स्थिति में विराजमान रहता है तो ऐसे जातक संवाद करने में काफी अच्छे होते हैं और अपनी बातों से सबका मन मोह लेते हैं। बली बुध जातकों को तार्किक बनाता है और वे व्यवसाय में सफलता प्राप्त करते हैं। इसके अलावा बुध की कृपा होने पर व्यक्ति रूप से भी सुंदर होता है। ऐसे जातक अपनी असल उम्र से हमेशा कम उम्र के नजर आते हैं।
जबकि बुध यदि किसी जातक की कुंडली में अच्छी स्थिति में न हो यानी कि किसी पापी ग्रह से पीड़ित हो तो जातकों को नकारात्मक परिणाम भी प्राप्त होते हैं। ऐसे जातक दिमागी रूप से कमजोर हो जाते हैं और उन्हें किसी भी चीज को समझने में आवश्यकता से अधिक मेहनत करनी पड़ती है। इसके साथ ही कमजोर बुध कमजोर आर्थिक स्थिति का भी कारक माना जाता है। कुंडली में बुध की कमजोर स्थिति की वजह से जातकों को जीवन में स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का भी सामना करना पड़ता है। ऐसे जातकों को नसों से संबंधित समस्या, बहरापन, नाक व मुँह से संबंधित रोग, चर्म रोग, तंत्रिका तंत्र से जुड़े रोग आदि रोग जीवन में तकलीफ देते हैं।
बुध वृषभ में मार्गी
यही वजह है कि बुध को सभी नौ ग्रहों के बीच एक महत्वपूर्ण ग्रह का दर्जा प्राप्त है। अब जल्द ही बुध देवता मार्गी होने जा रहे हैं। ऐसे में जाहिर है कि बुध की इस स्थिति का प्रभाव राशि चक्र की सभी बारह राशियों पर पड़ेगा। तो फिर आइये जानते हैं कि वृषभ राशि में मार्गी बुध की यह स्थिति आपके जीवन को किस तरह से प्रभावित करेगी।
बुध मार्गी का समय
बुध देव अब 3 जून 2022, शुक्रवार को दोपहर 1 बजकर 07 मिनट पर अपनी वक्री गति समाप्त करते हुए पुनः मार्गी अवस्था में आ जाएंगे और इसके पश्चात् ही वृषभ राशि में स्थित रहकर शुक्र देव सभी राशियों को किसी न किसी रूप से आवश्यक ही प्रभावित करेंगे।
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Read in English: Mercury Direct in Taurus (3 June 2022)
मेष
मेष राशि के जातकों की कुंडली में बुध को उनके तीसरे व छठे भाव का स्वामी माना जाता है और इस अवधि में यह मेष राशि के दूसरे भाव यानी कि कुटुंब भाव में मार्गी होगा। ऐसे में इस अवधि के दौरान बुध की यह स्थिति मेष राशि के जातकों के जीवन में सकारात्मक परिणाम लेकर आएगा। इस समय आपके आसपास का माहौल काफी सुखद रहने की संभावना है। साथ ही इस अवधि में आपको परिवार का भी पूरा सहयोग प्राप्त होगा। साथ ही आप परिवार में चल रहे किसी पुराने विवाद को भी निपटाने में सफल रहेंगे। जिसकी वजह से परिवार के सदस्यों के बीच भाईचारे और सौहार्द की भावना में वृद्धि देखी जा सकती है।
मेष राशि के जातकों की इस अवधि में सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर सक्रियता बढ़ेगी और वे ज्यादा से ज्यादा लोगों से संवाद करना पसंद करेंगे। वहीं वैवाहिक जीवन के दृष्टिकोण से देखा जाए तो विवाह में चली आ रही परेशानियों से आपको कुछ छुटकारा मिलने के योग बन रहे हैं। क्योंकि पति-पत्नी के बीच प्रेम बढ़ेगा और उनकी आपसी समझ में सुधार देखने को मिल सकता है। जिसकी वजह से आपका मन प्रसन्न रहेगा। आर्थिक तौर पर भी यह समय आपके लिए सकारात्मक नतीजे लेकर आएगा। आपको धन लाभ होने की प्रबल संभावना है और इससे आपकी आर्थिक स्थिति को मजबूती भी मिल सकेगी।
विशेषकर मेष राशि के व्यवसायी जातकों के लिए अवधि काफी शानदार रहने वाली है। आप अपने व्यवसाय में मुनाफा अर्जित कर सकते हैं और साथ ही व्यवसाय के विस्तार व विकास में भी आपकी काफी सक्रियता देखी जाएगी। जिससे आपको भविष्य में लाभ संभव है। वहीं नौकरीपेशा मेष राशि के जातक अपने सभी कार्य और लक्ष्यों को समय से पूर्व पूरा करने की कोशिश करते भी नजर आ सकते हैं।
उपाय: मां कात्यायनी की पूजा करें और उनके मंत्रों का जाप करें।
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वृषभ
वृषभ राशि के जातकों के लिए बुध उनके दूसरे और पंचम भाव के स्वामी होते हैं और इस अवधि में यह आपकी ही राशि यानी आपके प्रथम भाव में मार्गी होंगे। ऐसे में इस राशि के जातकों को बुध वृषभ में मार्गी की अवधि में मिश्रित परिणाम प्राप्त होने की संभावना बनेगी। आर्थिक तौर पर यह अवधि आपके लिए कुछ खास अनुकूल नहीं रहने वाली है। क्योंकि आपके खर्चों में वृद्धि होने से आपको समस्या संभव है।
वहीं वृषभ राशि के विवाहित जातकों को भी इस दौरान किसी कार्य की वजह से धन खर्च करना होगा। ऐसे में आपको इस समय फिजूलखर्ची करने से बचने की सलाह दी जाती है, अन्यथा आर्थिक तंगी बढ़ने से परेशानी भी बढ़ सकती है। हालांकि इस दौरान वृषभ राशि के जातक मानसिक रूप से शांति व आनंदित नजर आएंगे। साथ ही उन्हें स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से छुटकारा मिलेगा और वे स्वयं को पहले से ज्यादा फिट महसूस करेंगे। सामाजिक दृष्टिकोण से यह समय वृषभ राशि के जातकों के लिए सकारात्मक ही रहेगा। क्योंकि इस दौरान आपको आपके कार्यों की वजह से लोगों के बीच उचित मान-सम्मान प्राप्त हो सकता है। साथ ही इस अवधि में आपको समाज के लोगों का सहयोग भी मिलेगा जिससे आपका मन प्रफ़्फुलित दिखाई देगा।
वृषभ राशि के जातकों को बुध देव की मार्गी गति स्वास्थ्य जीवन में कुछ सुधार होने के योग भी दर्शा रही है। परंतु बावजूद इसके आपको व्यर्थ की यात्रा करने से बचना होगा। साथ ही कार्यक्षेत्र पर भी अपने कार्यों को दूसरों के भरोसे अधूरा न छोड़ते हुए स्वयं ही उन्हें पूरा करने का प्रयास करें। इसके अतिरिक्त इस समयावधि में आपको अपने द्वारा किए गए प्रयास व मेहनत से भी अच्छे परिणाम प्राप्त होने की संभावना अधिक रहने वाली है।
उपाय: मां लक्ष्मी की आराधना करें और किसी मंदिर में जाकर उनके समक्ष घी का एक दीपक ज़रूर जलाएं।
मिथुन
मिथुन राशि के जातकों की कुंडली में बुध उनके लग्न भाव और चौथे भाव के स्वामी माने जाते हैं और इस अवधि में बुध उनके द्वादश भाव यानी कि मोक्ष, व्यय और विदेश यात्रा के भाव में मार्गी होंगे। ऐसे में बुध की इस स्थिति के दौरान मिथुन राशि के जातकों को किसी अनजान व्यक्ति का सहयोग प्राप्त होगा।
हालांकि इस समय आपके स्वास्थ्य में कुछ गिरावट दिखाई देगी। ऐसे में यदि आप पहले से किसी बीमारी से पीड़ित है तो उससे जुड़ी भी कुछ समस्या बढ़ने से आपको परेशानी संभव है। इसलिए इस समय आपके लिए अपने स्वास्थ्य का खास ध्यान रखना ही सबसे अधिक आवश्यक रहने वाला है।
कई जातकों को इस अवधि में आपके पुराने मित्र से मुलाकात करने का अवसर मिलेगा और इसके परिणामस्वरूप वे अपने दोस्तों-मित्रों पर अपना धन भी खर्च कर सकते हैं। हालांकि संभावना है कि आप इस समय अपने पहले से अटके हुए कार्यों को पूरा करने में सक्षम रहेंगे। परंतु बावजूद इसके अपनी चीजों का खास ख्याल रखने की आपको सलाह दी जाती है। क्योंकि वस्तुओं के प्रति आपका लापरवाह स्वभाव होने से आपकी कोई वस्तु खो भी सकती है।
आर्थिक दृष्टिकोण से आपको अपने धन का सही प्रयोग करना और केवल आवश्यक की चीज़ों की ख़रीदारी करना ही आपके लिए अनुकूल रहेगा। वो जातक जो सट्टेबाजी से जुड़े हैं उन्हें किसी भी प्रकार के गैरकानूनी कार्यों से दूर रहने की सलाह दी जाती है। इसके अलावा प्रेम संबंधों से जुड़े जातकों के लिए समय अनुकूल ही रहने वाला है। क्योंकि इस समय आपके अपने प्रेमी व साथी के साथ रिश्ते और भी मजबूत होते दिखाई देंगे।
उपाय: गणेश जी की आराधना करें और उन्हें बूंदी के लड्डू का भोग लगाएं।
कर्क
कर्क राशि के जातकों के लिए बुध ग्रह बारहवें और तृतीय भाव के स्वामी होते हैं और अब बुध आपकी राशि से एकादश भाव में मार्गी हो रहे हैं। कुंडली में एकादश भाव को आमदनी का भाव कहा जाता है। इस भाव से आय, जीवन में प्राप्त होने वाली सभी प्रकार की उपलब्धियों, मित्र, बड़े भाई-बहन आदि को देखा जाता है। ऐसे में बुध का मार्गी होना कर्क राशि के जातकों के लिए शुभ ही रहने वाला है।
आर्थिक जीवन में बुध की ये स्थिति आपको अच्छा धन प्राप्त होने के योग तो बनाएगी। साथ ही इस समय आपकी सेहत में भी सुधार देखने को मिलेगा। आप मानसिक रूप से भी बेहद सकारात्मक होंगे और इसके परिणामस्वरूप आप खुद को काफी हद तक तनाव मुक्त रखने सक्षम होने वाले हैं।
साथ ही कार्यक्षेत्र के लिहाज़ से ये वो समय होगा जब आप जिस भी कार्य में हाथ डालेंगे उसे सफलतापूर्वक पूरा करने में सक्षम होंगे। क्योंकि इस समय आप खुद को ऊर्जा से भरपूर पाएंगे। पारिवारिक जीवन में भी आपको अपनों का सहयोग मिलेगा।
अब बात करें आपके प्रेम संबंधों की तो प्रेमी जातकों के लिए ये अवधि विशेष उत्तम रहेगी। इस समय जो जातक अपने प्रेमी से विवाह करना चाहते हैं वे अपने विवाह की बात आगे बढ़ा सकते हैं।
उपाय: भगवान शिव की आराधना करें और नियमित रूप से शिवलिंग का जलाभिषेक करें।
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सिंह
सिंह राशि के जातकों के लिए बुध उनके ग्यारहवें और दूसरे भाव के शासक हैं और अब वे आपकी राशि से दशम भाव में मार्गी होंगे। ज्योतिष में दशम भाव करियर, पिता की स्थिति, रुतबा, राजनीति एवं जीवन के लक्ष्यों की व्याख्या करता है और इसे कर्म भाव भी कहा जाता है। ऐसे में मार्गी बुध के परिणामस्वरूप सिंह राशि के जातकों को अनुकूल फल मिलने की संभावना बनेगी। क्योंकि बुध की ये स्थिति आपको भाग्य का साथ देने का कार्य करेगी।
कार्यक्षेत्र पर ये समय सबसे अधिक नौकरीपेशा जातकों को शुभ फल मिलने के योग बनाएगा। इस समय आपको कार्यस्थल पर अच्छा प्रमोशन व वेतन वृद्धि भी मिलने की संभावना रहेगी। ये वो समय होगा जब कार्यस्थल पर आपके काम और मेहनत की हर कोई जमकर तारीफ करेगा। खासतौर से इस दौरान आप अपने बॉस और वरिष्ठ अधिकारियों को प्रसन्न करते हुए भी उनका सहयोग प्राप्त करने में सफल होंगे।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो दांपत्य जातकों को अपनी संतान पक्ष से कोई खुशखबरी प्राप्त हो सकती है। इसके अलावा वो नववैवाहिक जातक जो अपने परिवार में विस्तार का सोच रहे थे, उनके लिए भी समय उत्तम ही दिखाई दे रहा है। स्वास्थ्य के लिहाज़ से भी ये समय आपको मानसिक रूप से ख़ुशी देगा। क्योंकि इस समय आपकी खराब सेहत में सुधार आने के योग बनेंगे।
उपाय: नियमित रूप से सुबह तांबे के लोटे से सूर्य को रोजाना जल अर्पित करें।
कन्या
कन्या राशि के जातकों के लिए बुध पहले और दसवें भाव के स्वामी होते हैं और अब बुध आपकी राशि से नवम भाव में मार्गी होंगे। ज्योतिष में नवम भाव को भाग्य भाव कहते हैं। इस भाव से व्यक्ति के भाग्य, गुरु, धर्म, यात्रा, तीर्थ स्थल, सिद्धांत का विचार किया जाता है। ऐसे में बुध की ये स्थिति कन्या राशि के जातकों को मिलाजुला फल देने वाली है।
हालांकि स्वास्थ्य के लिहाज़ से आपको थोड़ा सतर्क रहने की ज़रूरत होगी। ऐसे में केवल और केवल घर का बना खाना ही खाएं। प्रेम संबंधों की बात करें तो इस दौरान आपके अपने पार्टनर के साथ संबंध मधुर होंगे। वहीं वैवाहिक जातकों के लिए भी समय विशेष अच्छा दिखाई दे रहा है। क्योंकि इस समय आप एक-दूसरों के साथ समय व्यतीत करते हुए अपने रिश्ते को मजबूत बनाएंगे।
जब बुध वृषभ में मार्गी होंगे, आपको सबसे अधिक अपनी सभी इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं का ध्यान रखना होगा। क्योंकि आशंका है कि इस समय आपको मोबाइल फोन या इंटरनेट से जुड़ी कोई परेशानी हो। साथ ही निजी जीवन व कार्यस्थल दोनों ही क्षेत्रों में आपको इस दौरान किसी पर भी आसानी से भरोसा करने से बचना होगा। इसलिए जितना संभव हो सभी दस्तावेज को ठीक से पढ़ने के बाद ही उसपर हस्ताक्षर करें। इसके अलावा आपको इस समय भाग्य का साथ अधिक नहीं मिलने से अपने कार्यक्षेत्र पर भी कुछ कार्य बीच में ही अटकने से समस्या हो सकते हैं।
उपाय: गणेश जी की आराधना करें और गणेश जी को हरी दूर्वा घास भेंट करें।
तुला
तुला राशि के जातकों के लिए बुध उनके बारहवें और नौवें भाव के स्वामी हैं और अब वर्तमान में ये बुध देव आपकी राशि से अष्टम भाव में मार्गी होंगे। वैदिक ज्योतिष में कुंडली के अष्टम भाव को आयुर्भाव कहा जाता है। जिससे हम जीवन में आने वाले उतार-चढ़ाव, अचानक से होने वाली घटनाओं, आयु, रहस्य, शोध आदि को देखते है। ऐसे में बुध ग्रह का आपके अष्टम भाव में मार्गी होना आपके लिए सामान्य से अधिक शुभ रहने वाला है। क्योंकि इस दौरान आप अपने जीवन में अलग-अलग मार्गों से अच्छा लाभ अर्जित कर सकेंगे।
बुध देव की कृपा से आपको भाग्य का भी पूर्ण साथ मिलता हुआ दिखाई देगा। इससे आप अपने करियर में सफलता हासिल कर उन्नति करेंगे। कई नौकरीपेशा जातकों की पदोन्नति होने से उनकी आय में वृद्धि संभव है। व्यापारी जातक भी अपने व्यवसाय में विस्तार करने के लिए अपनी योजनाओं पर अमल कर सकेंगे। इस दौरान आपके द्वारा किया गया हर निवेश भी आपको अच्छा धन लाभ देने के योग बनाएगा।
स्वास्थ्य जीवन के दृष्टिकोण से भी बुध की ये स्थिति आपकी सेहत में सुधार लेकर आ रही है। खासतौर से वो जातक जो अपनी पूर्व की किसी समस्या से पिछले लंबे समय से परेशान चल रहे थे, वे इस दौरान अपनी हर बीमारी से निजात पाते हुए एक स्वस्थ जीवन का आनंद ले सकेंगे। आर्थिक जीवन भी अनुकूल रहेगा और आपको धन लाभ होने के योग बनेंगे। यदि कोई पुराना धन रुका हुआ था तो आप उसे वापस पा सकेंगे। इस राशि के शिक्षा से जुड़े जातकों के लिए भी समय शुभ ही रहेगा। क्योंकि बुध देव उन्हें अपनी पूर्व की मेहनत का फल देते हुए अपना अच्छा प्रदर्शन देने में उनकी मदद करेंगे। इसके फलस्वरूप इस समय छात्र शिक्षा से संबंधी जो भी प्रयास करेंगे उसमे उन्हें पूर्ण रूप से सफलता मिलेगी।
हालांकि प्रेम संबंधों में शादीशुदा जातकों को कुछ परेशानियों से दो-चार होना पड़ सकता है। ऐसे में हर प्रकार की विपरीत परिस्थितियों से बचने के लिए अपने अंदर आत्मविश्वास बनाए रखें और हर परिस्थिति में सकारात्मक रूप से ही विचार करें।
उपाय: अपनी मां या मां समान किसी अन्य महिला को हरे वस्त्र उपहार में भेंट करें।
वृश्चिक
वृश्चिक राशि के जातकों के लिए बुध अष्टम और एकादश भाव के स्वामी हैं और अब वे आपकी राशि से सप्तम भाव में मार्गी होंगे। ज्योतिष में कुंडली के सातवें भाव से हम व्यक्ति के वैवाहिक जीवन, जीवनसाथी एवं जीवन के अन्य क्षेत्रों में बनने वाले साझेदारों का विचार करते हैं। इस भाव को विवाह भाव भी कहते हैं। ऐसे में वृश्चिक राशि के जातकों के लिए बुध ग्रह का मार्गी होना उन्हें जीवन में मिले-जुले फल देने के योग बनाएगा।
मार्गी स्थिति का सबसे अधिक नकारात्मक प्रभाव शादीशुदा जातकों के दांपत्य जीवन पर पड़ेगा। उन्हें इस दौरान अपने जीवनसाथी के साथ कई परेशानियों से दो-चार होना पड़ेगा। निजी जीवन में चल रही इन विपरीत परिस्थितियों के कारण आप अपना मन कामकाज पर भी नहीं लगा पाएंगे।
कार्यक्षेत्र पर भी आपको अतिरिक्त मेहनत करने की ज़रूरत होगी। क्योंकि आपकी मेहनत ही आपको करियर में अच्छे परिणाम प्राप्त करने में मददगार सिद्ध होगी। हालांकि अनुकूल परिणामों को मिलने में कुछ समय ज़रूर लग सकता है। साथ ही आपको अपने स्वभाव में सौम्यता लाने और अपने क्रोध पर नियंत्रित रखने की सलाह दी जाती है। हालांकि निजी जीवन में आपको अनुकूलता मिलेगी। यदि आप शादीशुदा हैं और अपने दांपत्य जीवन में विस्तार का सोच रहे थे उन्हें इस दौरान सफलता मिल सकती है। जिससे घर-परिवार में ख़ुशी भरा वातावरण रहेगा।
परंतु वैवाहिक जीवन में जीवनसाथी के साथ कुछ परेशानी भी संभव है। इसलिए आपके लिए बेहतर यही होगा कि सुनी-सुनाई बातों पर विश्वास न करें और पहले चीजों को ठीक से देख-परख लें और उसके बाद ही किसी भी निर्णय पर पहुंचे।
उपाय: घर से बाहर निकलते समय अपने पास एक हरा रुमाल ज़रूर रखें।
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धनु
धनु राशि के जातकों लिए बुध सातवें और दसवें भाव के स्वामी होते हैं और अब बुध आपकी चंद्र राशि से षष्टम भाव में मार्गी हो रहे हैं। ज्योतिष में इस भाव को शत्रु भाव कहा जाता है। इस भाव से विरोधियों, रोग, पीड़ा, जॉब, कम्पीटीशन, रोग प्रतिरोधक क्षमता, शादी-विवाह में अलगाव एवं कानूनी विवादों को देखा जाता है। ऐसे में बुध मार्गी का ये प्रभाव जातकों को मिश्रित फल मिलने की संभावना बनाएगा।
कार्यक्षेत्र पर नौकरी की तलाश कर रहे जातकों को यूँ तो सफलता मिलेगी और वे कार्यस्थल पर अपनी नौकरी में प्रमोशन हासिल करेंगे। परंतु बावजूद इसके इस दौरान आपको अपने खर्चों पर नियंत्रण रखने की अधिक आवश्यकता रहने वाली है। इसलिए बेकार की चीजों पर अपना धन खर्च करने से बचें, अन्यथा भविष्य में बड़ी आर्थिक तंगी से दो-चार होना पड़ेगा।
अब बात करें शादीशुदा जातकों की तो यूँ तो आपको अपनी संतान पक्ष की तरफ से कोई खुशखबरी प्राप्त हो सकती है। जिसके कारण आपको उन पर गर्व की अनुभूति होगी और आप उनके साथ समय व्यतीत करते दिखाई देंगे। वैवाहिक जीवन में जीवनसाथी के साथ कुछ विवाद या मनमुटाव भी रहेगा। वहीं प्रेमी जातकों की लव लाइफ में भी इस अवधि में कुछ प्रतिकूल परिणाम देखे जा सकते हैं।
बुध का मार्गी होना आपको स्वास्थ्य को लेकर सतर्क रहने का संकेत दे रहा है। क्योंकि आशंका है कि इस दौरान आपको त्वचा संबंधी किसी प्रकार की समस्या हो सकती है, जिसके कारण आपकी कार्यक्षमता भी कुछ हद तक प्रभावित हो सकेगी।
उपाय: कोई भी कार्य शुरू करने से पहले अपनी मां या मां समान किसी महिला का आशीर्वाद ज़रूर लें।
मकर
मकर राशि के जातकों के लिए बुध ग्रह उनके छठे और नौवें भाव के स्वामी हैं और यह अब आपकी राशि से पंचम भाव में मार्गी होंगे। कुंडली में इस भाव को संतान भाव के नाम से भी जाना जाता है जिससे हम रोमांस, संतान, रचनात्मकता, बौद्धिक क्षमता, शिक्षा एवं नए अवसरों को देखते हैं। ऐसे में बुध की इस स्थिति के फलस्वरूप मकर राशि के जातकों को जीवन के अलग-अलग क्षेत्रों में मिले-जुले फल मिल सकते हैं।
ये समय सबसे अधिक मकर जातकों को अपने प्रेम संबंधों में परेशानी दे सकता है। क्योंकि इस दौरान आप अपनी लव लाइफ से कुछ असंतुष्ट दिखाई देंगे, जिससे प्रियतम के साथ आपको कुछ दूरियों से दो-चार होना पड़ सकता है। ऐसे में आपके लिए इस दौरान किसी भी निर्णय पर पहुंचने से पहले उसके बारे में धैर्यपूर्वक विचार करने की ज़रूरत होगी। इसलिए अगर संभव हो तो प्रेम जीवन से संबंधित कोई भी बड़ा फैसला अभी लेने से बचें। वहीं विवाहित जातकों के लिए भी समय कुछ अधिक अनुकूल नहीं रहने वाला है। क्योंकि इस दौरान आपके और जीवनसाथी के बीच कुछ खटास संभव है। ऐसे में किसी अन्य से ज्यादा एक-दूसरे पर विश्वास रखने की आपको सलाह दी जाती है।
स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से बुध देव का मार्गी होना आपकी दिनचर्या को गड़बड़ भी कर सकता है। इसलिए अपनी सेहत का खास ध्यान रखें और अपने ऊपर किसी भी कारणवश मानसिक तनाव को हावी न होने दें। इसके लिए आप योग व व्यायाम का सहारा ले सकते हैं।
उपाय: नियमित रूप से गाय को हरा चारा खिलाएं।
कुम्भ
कुंभ राशि के जातकों के लिए बुध आपकी राशि से पांचवें और आठवें भाव के स्वामी हैं और अब वे आपकी राशि से चतुर्थ भाव में मार्गी होंगे। कुंडली के चौथे भाव को सुख भाव कहा जाता है। इस भाव से माता, जीवन में मिलने वाले सभी प्रकार के सुख, चल-अचल संपत्ति, लोकप्रियता एवं भावनाओं को देखा जाता है। ऐसे में बुध की ये स्थिति कुंभ राशि के जातकों के लिए बेहद ही शुभ रहने वाली है।
खासतौर से इस राशि के छात्रों को शिक्षा से जुड़े अच्छे फल मिल सकेंगे। क्योंकि आपको पढ़ाई-लिखाई से संबंधित किए गए अपने सभी प्रयासों में सफलता मिलेगी और वे परीक्षा में अपना उत्तम प्रदर्शन देने में सक्षम होंगे। परंतु प्रेम संबंधों में थोड़ा सतर्क रहना होगा। क्योंकि आशंका है कि प्रियतम की सेहत में आ रही गिरावट आपके निजी जीवन के साथ-साथ आपके कार्यक्षेत्र को भी प्रभावित करे। इसके अलावा आपको अपने स्वयं के स्वास्थ्य के प्रति भी सचेत रहने की सलाह दी जा रही है।
कार्यक्षेत्र पर आपको अपनी रणनीतियों और योजनाओं को दूसरों के साथ साझा करने से बचना होगा। क्योंकि इस समय आप रचनात्मक होंगे और हर कार्य को बहुत जल्दी करते दिखाई देंगे। वहीं यदि आप बिजनेस से जुड़े हैं तो आपको ये समय अपने व्यापार से संबंधित कई लाभदायक अवसर देने के योग बनाएगा। आर्थिक जीवन में भी आप आपका कोई पुराना रुका हुआ धन वापस प्राप्त कर सकेंगे। इससे आपके जीवन में आ रही आर्थिक तंगी कुछ हद तक दूर होगी।
उपाय: मंदिर जाकर गणेश जी की आराधना करें और उन्हें लड्डूओं का भोग लगाएं।
मीन
मीन राशि के लिए बुध आपके चौथे और सातवें भाव के स्वामी हैं और अब बुध ग्रह अपनी इस अवस्था में आपकी राशि से तृतीय भाव में मार्गी हो रहे हैं। कुंडली में तीसरे भाव को सहज भाव कहा जाता है। जिससे हम व्यक्ति के साहस, इच्छा शक्ति, छोटे भाई, जिज्ञासा, जुनून, ऊर्जा, जोश और उत्साह को देखते हैं। ऐसे में मीन जातकों के लिए बुध की ये स्थिति विशेष उत्तम रहेगी।
खासतौर से वो सभी जातक जो अपनी किसी पुरानी समस्या के कारण पूर्व से परेशान चल रहे थे वे अपनी सेहत में बड़ा सुधार देख सकेंगे। आपकी सेहत में आए ये सकारात्मक बदलाव आपको अंदर से ख़ुशी देंगे और आप करीबियों व मित्रों के साथ खुलकर अपना जीवन जी सकेंगे। इसके लिए आप घर से बाहर जाने का कोई कार्यक्रम भी बना सकते हैं।
प्रेम संबंधों की बात करें तो उसमें प्रेमी जातकों को बुध देव सफलता मिलने के योग बना रहे हैं। इसके फलस्वरूप आपका और प्रियतम का रिश्ता पहले से अधिक मजबूत हो सकेगा। परंतु इस राशि के छात्रों का मन अपनी पढ़ाई में मन कम लगने से उन्हें कष्ट संभव है।
करियर के लिहाज़ से भी आपको खुद को केवल और केवल अपने लक्ष्यों के प्रति ही केंद्रित रखने की सलाह दी जाती है। क्योंकि तभी आप समय से पहले अपने कार्य को पूरा सफलतापूर्वक कर सकेंगे।
आर्थिक जीवन में धन के प्रति आपकी रूचि अधिक रहेगी। इसके अलावा आप धर्म से संबंधित कार्य में बढ़-चढ़कर भाग लेते हुए उसपर अपना कुछ धन भी खर्च कर सकते है।
उपाय: गरीबों व ज़रूरतमंदों में सफेद चीजों का दान करें और घर से निकलने से पहले हमेशा दही का तिलक करें।
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